जनरल मोटर्स इंडिया के पुणे प्लांट के सभी 1419 श्रमिकों की हुई छुट्टी: रिपोर्ट
हाइलाइट्स
जनरल मोटर्स इंडिया ने शुक्रवार को अपने तालेगांव प्लांट में काम करने वाले 1419 श्रमिकों की छुट्टी कर दी. ETAuto की एक रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी कार निर्माता की भारतीय सहायक कंपनी ने अपने इस प्लांट में सभी काम करने वालों को बर्खास्त कर दिया है. पुणे के बाहरी इलाके में इस प्लांट में यह काम औद्योगिक विवाद अधिनियम की धारा 25 को लागू करके किया गया है. इस मामले के करीबी सूत्रों का कहना है कि कर्मचारी संघ कानूनी रूप से इस कदम को चुनौती देगा. यह कदम वाहन निर्माता और उसके कर्मचारियों के बीच कानूनी लड़ाई को लंबा खींच सकता है.
कंपनी ने पिछले चार महीनों में कोई भी वाहन नहीं बनाने के बावजूद कर्मचारियों का भुगतान जारी रखा है.
कार निर्माता ने एक ईमेल के ज़रिए सभी 1419 श्रमिकों को नौकरी से निकालने का नोटिस भेजा है, और उसकी एक कॉपी जनरल मोटर्स कर्मचारी संघ के सचिव और अध्यक्ष को भी भेजी गई है. कंपनी का कहना है कि सभी कर्मियों को औद्योगिक विवाद अधिनियम 1947 की धारा 25-सी के तहत मुआवज़ा मिलेगा, जो आखिरी मूल वेतन और महंगाई भत्ते का 50 प्रतिशत है.
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कारखाने के गेट पर प्रदर्शित नोटिस कहा गया कि, "चूंकि कोविड-19 की वजह से बड़े पैमाने पर छंटनी की घोषणा की गई है, प्राकृतिक आपदा होने के कारण, उपयुक्त प्राधिकारी से कोई पूर्व अनुमति नहीं मांगी गई है, यह आईडी अधिनियम की धारा 25-एम के तहत आवश्यक नही है." जनरल मोटर्स ने ईटी को बताया कि कंपनी ने पिछले चार महीनों में कोई भी वाहन नहीं बनाने के बावजूद कर्मचारियों का भुगतान जारी रखा है. कंपनी के प्रवक्ता की मानें तो 24 दिसंबर 2020 के बाद से उत्पादन बंद हो गया था.