रेनो क्विड 1.0-लीटर का रिव्यू
हमने रेनो क्विड 1.0-लीटर को ड्राइव किया, आइए जानते हैं कि 1.0-लीटर इंजन वाली क्विड में क्या अलग है।
हाइलाइट्स
- रेनो क्विड 1.0-लीटर पर कंपनी ने अच्छा काम किया है।
- इसका 1.0-लीटर इंजन 67 बीएचपी का पावर और 91Nm का टॉर्क देता है।
- ये कार 23.01 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है।
पिछले कई दिनों से रेनो क्विड के 1.0-लीटर वेरिएंट का इंतज़ार बेसब्री से किया जा रहा था। एंट्री-लेवल हैचबैक कार सेगमेंट में रेनो क्विड के 0.8-लीटर वर्जन ने पहले ही बाज़ार में जबरदस्त पकड़ बना ली है और अब उसी कार को पावरफुल इंजन के साथ उतारा गया है। हमने रेनो क्विड 1.0-लीटर को ड्राइव किया, आइए जानते हैं कि 1.0-लीटर इंजन वाली क्विड में क्या अलग है।
रेनो क्विड 1.0-लीटर में लगा इंजन 67 बीएचपी का पावर और 91Nm का टर्क देता है। इस कार को ड्राइव करने के दौरान आपको जो सबसे बड़ा फर्क नज़र आएगा वो है इसके इंजन का पावर। इस 1.0-लीटर इंजन पर भी कंपनी ने काफी काम किया है और पावर और ड्राइव के मामले में ये इंजन प्रभावित करता है। हालांकि, माइलेज के मामले में मारुति सुजुकी अल्टो के10 अभी भी सेगमेंट लीडर बनी हुई है। मारुति सुजुकी अल्टो के10 24.07 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है वहीं, रेनो क्विड 1.0-लीटर 23.01 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है।
इस कार की दूसरी खास बात ये है कि इसका एनवीएच (NVH) लेवल। कंपनी ने इस कार के एनवीएच लेवल को पहले से बेहतर बनाया है। 0.8-लीटर की तुलना में ये वर्जन थोड़ा शांत है जो कार में बैठे लोगों को पसंद आएगा। अच्छी खबर ये है कि इन बदलाव को 0.8-लीटर वेरिएटं में भी किया गया है। सिटी ड्राइविंग के हिसाब से कार का टॉर्क भी काफी अच्छा है। ड्राइविंग के दौरान बार बार गियर बदलने की ज़रूरत नहीं पड़ती।
रेनो क्विड 1.0-लीटर की राइड क्वालिटी और हैंडलिंग 0.8-लीटर वेरिएंट की तरह ही है और ये इस कार की सबसे बड़ी यूएसपी है। कार का ग्राउंड क्लियरेंस 180mm का है जो बाकी अन्य कारों से इसे अलग बनाता है। गियर भी काफी स्मूथ और क्विक है। वहीं, कार की स्टीरिंग और गियर लीवर में वाइब्रेशन भी कम है जो अन्य कारों के मुकाबला इस कार को थोड़ा खास बना रहा है।
आमतौर पर देखा गया है कि कार कंपनियां जब किसी कार के पावरफुल वेरिएंट को बाज़ार में उतारती हैं तो उनमें कई अतिरिक्त नए फीचर्स भी दिए जाते हैं। लेकिन, रेनो ने क्विड 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ ऐसा कुछ भी नहीं किया है। ये कार भी मौजूदा मॉडल की तरह ही उसी ट्रिम और वेरिएंट में उपलब्ध होगी। रेनो क्विड 1.0-लीटर के डिजाइन और फीचर में कोई बदलाव नहीं किया गया है। यहां तक की 1.0-लीटर वेरिएंट को किसी खास नए रंग में भी नहीं लॉन्च किया जाएगा। कार में विजिबिलिटी को बेहतर बनाने के लिए नया मिरर लगाया गया है जो जल्द ही 0.8-लीटर वेरिएंट में भी लगाया जाएगा।
हमारी नज़र में रेनो क्विड 1.0-लीटर ना सिर्फ ह्युंडई इऑन या अल्टो के10 को कड़ी टक्कर देगी बल्कि ये कार मारुति सुजुकी वैगनआर को भी कड़ी टक्कर दे सकती है। रेनो क्विड का 300-लीटर का बूट स्पेस और कार के केबिन स्पेस पर नज़र डालें तो ये कार अपने सेगमेंट में मुकाबले की कारों से कहीं आगे है।
रेनो क्विड 1.0-लीटर फिलहाल RXL और RXT वेरिएंट में उपलब्ध होगी। हालांकि, कंपनी ने कहा है कि ग्राहकों की डिमांड अगर आती है तो इसे STD और RXE वेरिएंट में भी उपलब्ध कराया जाएगा। इस नए वेरिएंट के आने से रेनो के प्रोडक्शन कपैसिटी पर भी थोड़ा फर्क ज़रूर पड़ेगा।
नए 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ कंपनी 2 साल, 50,000 किलोमीटर की वारंटी भी मुहैया करा रही है जो 0.8-लीटर वेरिएंट में भी उपलब्ध है। रेनो ने दोनों ही इंजन वेरिएंट के लिए नया प्रीटेंशनर सिस्टम सीट बेल्ट भी लेकर आई है लेकिन ये सिर्फ RXT ट्रिम के साथ ऑप्शनल तौर पर उपलब्ध होगा। इसके अलावा कार में अभी तक एबीएस की सुविधा नहीं दी गई है जो इसे सेलेरियो, वैगनआर और टाटा टियागो के मुकाबले थोड़ा पीछे रख सकता है।
रेनो अब क्विड के एएमटी वेरिएंट पर काम कर रही है जो 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ उपलब्ध होगी। उम्मीद है कि क्विड के एएमटी वेरिएंट को भी इसी साल त्योहारों के सीजन में लॉन्च किया जाएगा। अब देखना होगा कि आने वाले समय में रेनो क्विड भारतीय बाज़ार में कितनी तेज़ी के साथ अपना बाज़ार बड़ा करती है।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
रेनो क्विड 1.0-लीटर में लगा इंजन 67 बीएचपी का पावर और 91Nm का टर्क देता है। इस कार को ड्राइव करने के दौरान आपको जो सबसे बड़ा फर्क नज़र आएगा वो है इसके इंजन का पावर। इस 1.0-लीटर इंजन पर भी कंपनी ने काफी काम किया है और पावर और ड्राइव के मामले में ये इंजन प्रभावित करता है। हालांकि, माइलेज के मामले में मारुति सुजुकी अल्टो के10 अभी भी सेगमेंट लीडर बनी हुई है। मारुति सुजुकी अल्टो के10 24.07 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है वहीं, रेनो क्विड 1.0-लीटर 23.01 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है।
इस कार की दूसरी खास बात ये है कि इसका एनवीएच (NVH) लेवल। कंपनी ने इस कार के एनवीएच लेवल को पहले से बेहतर बनाया है। 0.8-लीटर की तुलना में ये वर्जन थोड़ा शांत है जो कार में बैठे लोगों को पसंद आएगा। अच्छी खबर ये है कि इन बदलाव को 0.8-लीटर वेरिएटं में भी किया गया है। सिटी ड्राइविंग के हिसाब से कार का टॉर्क भी काफी अच्छा है। ड्राइविंग के दौरान बार बार गियर बदलने की ज़रूरत नहीं पड़ती।
रेनो क्विड 1.0-लीटर की राइड क्वालिटी और हैंडलिंग 0.8-लीटर वेरिएंट की तरह ही है और ये इस कार की सबसे बड़ी यूएसपी है। कार का ग्राउंड क्लियरेंस 180mm का है जो बाकी अन्य कारों से इसे अलग बनाता है। गियर भी काफी स्मूथ और क्विक है। वहीं, कार की स्टीरिंग और गियर लीवर में वाइब्रेशन भी कम है जो अन्य कारों के मुकाबला इस कार को थोड़ा खास बना रहा है।
आमतौर पर देखा गया है कि कार कंपनियां जब किसी कार के पावरफुल वेरिएंट को बाज़ार में उतारती हैं तो उनमें कई अतिरिक्त नए फीचर्स भी दिए जाते हैं। लेकिन, रेनो ने क्विड 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ ऐसा कुछ भी नहीं किया है। ये कार भी मौजूदा मॉडल की तरह ही उसी ट्रिम और वेरिएंट में उपलब्ध होगी। रेनो क्विड 1.0-लीटर के डिजाइन और फीचर में कोई बदलाव नहीं किया गया है। यहां तक की 1.0-लीटर वेरिएंट को किसी खास नए रंग में भी नहीं लॉन्च किया जाएगा। कार में विजिबिलिटी को बेहतर बनाने के लिए नया मिरर लगाया गया है जो जल्द ही 0.8-लीटर वेरिएंट में भी लगाया जाएगा।
हमारी नज़र में रेनो क्विड 1.0-लीटर ना सिर्फ ह्युंडई इऑन या अल्टो के10 को कड़ी टक्कर देगी बल्कि ये कार मारुति सुजुकी वैगनआर को भी कड़ी टक्कर दे सकती है। रेनो क्विड का 300-लीटर का बूट स्पेस और कार के केबिन स्पेस पर नज़र डालें तो ये कार अपने सेगमेंट में मुकाबले की कारों से कहीं आगे है।
रेनो क्विड 1.0-लीटर फिलहाल RXL और RXT वेरिएंट में उपलब्ध होगी। हालांकि, कंपनी ने कहा है कि ग्राहकों की डिमांड अगर आती है तो इसे STD और RXE वेरिएंट में भी उपलब्ध कराया जाएगा। इस नए वेरिएंट के आने से रेनो के प्रोडक्शन कपैसिटी पर भी थोड़ा फर्क ज़रूर पड़ेगा।
नए 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ कंपनी 2 साल, 50,000 किलोमीटर की वारंटी भी मुहैया करा रही है जो 0.8-लीटर वेरिएंट में भी उपलब्ध है। रेनो ने दोनों ही इंजन वेरिएंट के लिए नया प्रीटेंशनर सिस्टम सीट बेल्ट भी लेकर आई है लेकिन ये सिर्फ RXT ट्रिम के साथ ऑप्शनल तौर पर उपलब्ध होगा। इसके अलावा कार में अभी तक एबीएस की सुविधा नहीं दी गई है जो इसे सेलेरियो, वैगनआर और टाटा टियागो के मुकाबले थोड़ा पीछे रख सकता है।
रेनो अब क्विड के एएमटी वेरिएंट पर काम कर रही है जो 1.0-लीटर वेरिएंट के साथ उपलब्ध होगी। उम्मीद है कि क्विड के एएमटी वेरिएंट को भी इसी साल त्योहारों के सीजन में लॉन्च किया जाएगा। अब देखना होगा कि आने वाले समय में रेनो क्विड भारतीय बाज़ार में कितनी तेज़ी के साथ अपना बाज़ार बड़ा करती है।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Last Updated on August 19, 2016
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