मर्सिडीज-AMG G 63 ग्रांड एडिशन भारत में महज़ 6 मिनट में बिका, सितंबर 2023 तक कंपनी ने बेचीं 12,768 कारें
हाइलाइट्स
हाल के वर्षों में, मर्सिडीज-बेंज ने भारतीय बाजार में अपने सबसे महंगे वाहनों (टीईवी) के लिए निरंतर वृद्धि देखी है. एक ऐसा सेग्मेंट, जिसमें जीएलएस, एस-क्लास, एस-क्लास मायबाक, जीएलएस मायबाक और जी-क्लास शामिल हैं, ने 2023 की पहली छमाही में 54 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की है, नए आंकड़ों के अनुसार इस सेगमेंट में (जनवरी से सितंबर 2023) के बीच बिक्री में 22 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और सबसे महंगे वाहनों की मांग पर बोलते हुए, मर्सिडीज-बेंज इंडिया के एमडी और सीईओ, संतोष अय्यर ने खुलासा किया कि हाल ही में लॉन्च किया गया एएमजी जी 63 ग्रांड एडिशन ऑर्डर खुलने के कुछ ही मिनटों में बिक गया.
मर्सिडीज ने भारतीय बाजार के लिए जी 63 ग्रांड एडिशन की 25 कारें आवंटित कीं, जिनमें से सभी को बुकिंग शुरू होने के कुछ ही मिनटों के भीतर खरीद लिया गया
भारत में विज़न मर्सिडीज-मायबाक 6 कॉन्सेप्ट को पेश करने के मौके पर मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि ₹4 करोड़ (एक्स-शोरूम) वाली इस लग्जरी एसयूवी की सभी 25 कारें 6 मिनट के भीतर बिक गईं. एसयूवी की अंतिम कीमत रजिस्ट्रेशन और टैक्स सहित ₹5 करोड़ से अधिक है.
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अय्यर ने कहा कि कंपनी को भारत में स्पेशल वैरिएंट जी-क्लास की अतिरिक्त कारों को लाने के लिए 90 से अधिक ग्राहकों से अनुरोध भी प्राप्त हुए थे.
कार निर्माता को अपनी टीईवी रेंज की मजबूत मांग दिख रही है, जिसमें साल-दर-साल 22 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है
कुल मिलाकर, मर्सिडीज ने कहा कि उसने इस कैलेंडर वर्ष में सितंबर के अंत तक भारतीय बाजार में 12,768 वाहन बेचे थे. इससे 2022 की तुलना में बिक्री में 11 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है, जिससे कंपनी संभवतः कैलेंडर ईयर 2022 में अपने बिक्री प्रदर्शन को बेहतर करने की दिशा में आगे बढ़ रही है. कंपनी ने पिछले साल देश में 15,822 कारों की बिक्री दर्ज की थी.
मर्सिडीज ने कहा कि बेचे गए 12,768 वाहनों में से 25 प्रतिशत बिक्री उसके टीईवी मॉडलों से हुई. कंपनी ने कहा कि उसे जीएलएस और एस-क्लास (स्टैंडर्ड और मायबाक दोनों मॉडल) के साथ-साथ टीईवी सेगमेंट में एएमजी और जीएलई के लिए मजबूत मांग मिल रही है. हालाँकि, कार निर्माता ने स्वीकार किया कि उसे अपने कुछ मॉडलों जैसे जीएलएस और नए जीएलसी के लिए सप्लाई श्रृंखला बाधाओं का सामना करना पड़ रहा है.